प्रकाशन तिथि: 30 जुलाई 2025 | 🕐 समय: 11:00 PM
✍ लेखक: The Ratioal Herald
नया अध्ययन दिखाता है कि अत्यधिक प्रोसेस्ड फूड्स खाने से फेफड़ों के कैंसर का खतरा बढ़ता है, भले ही आप धूम्रपान न करते हों। जानिए शोध की मुख्य बातें, प्रैक्टिकल टिप्स और सेहतमंद जीवन के लिए विशेषज्ञ की राय
नया अध्ययन फेफड़ों के कैंसर जोखिम में प्रोसेस्ड फूड्स – जानिए सबसे ताज़ा निष्कर्ष
स्वास्थ्य दुनिया में एक बड़ा अलर्ट! “नया अध्ययन फेफड़ों के कैंसर जोखिम में प्रोसेस्ड फूड्स” प्रकाशित हुआ है, जिसमें खुलासा हुआ है कि जो लोग अल्ट्रा-प्रोसेस्ड फूड्स अधिक मात्रा में खाते हैं, उन्हें फेफड़ों के कैंसर का ख़तरा बेहद ज्यादा रहता है—even if वे कभी स्मोकिंग नहीं करते।
“यह निष्कर्ष पहले से चली आ रही धारणा को चुनौती देता है कि सिर्फ धूम्रपान ही फेफड़ों के कैंसर का मुख्य कारण है।” (डॉ. सरिता यादव, कैंसर विशेषज्ञ)
प्रोसेस्ड फूड्स क्या हैं?
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रेडी-टू-ईट स्नैक्स, इंस्टैंट नूडल्स, पैकेज्ड बेकरी आइटम्स, कोला ड्रिंक और मसालेदार चिप्स—ये सब अल्ट्रा-प्रोसेस्ड फूड की श्रेणी में आते हैं।
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इनमें अत्यधिक नमक, शुगर, कैमीकल एडिटिव्स और कम न्यूट्रिएंट्स होते हैं।
नया अध्ययन: जोखिम कितना ज्यादा?
शोधकर्ताओं ने 40,000 से अधिक प्रतिभागियों के डाटा का अध्ययन किया। निष्कर्ष चौंकाने वाले हैं:
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जो लोग सबसे ज्यादा अल्ट्रा-प्रोसेस्ड फूड खाते थे, उनमें फेफड़ों के कैंसर का रिस्क 30% तक ज्यादा देखा गया।
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धूम्रपान करने वालों में तो खतरा दोगुना हो जाता है, लेकिन नॉन स्मोकर्स में भी प्रभावी वृद्धि दिखी।
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यह एसोसिएशन उम्र, जेंडर, फिजिकल एक्टिविटी जैसी कई दूसरे फैक्टर कंट्रोल करने के बाद भी बनी रही।
फेफड़ों के कैंसर के लक्षण
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लंबे समय तक सूखी खांसी
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सीने में दर्द
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वजन कम होना
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सांस लेने में कठिनाई
समय रहते डॉक्टर से मिलें और रेगुलर स्क्रीनिंग करवाएं।
स्वास्थ्य पर प्रोसेस्ड फूड्स के और भी नुकसान
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मोटापा, डायबिटीज़ और दिल की बीमारियाँ
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पाचन संबंधी समस्या
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ऊर्जा का तेजी से कम होना
क्या आप भी खाते हैं ज्यादा प्रोसेस्ड फूड्स?
यदि हाँ, तो इन हेल्दी आदतों को अपनाएं:
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फ्रेश फल, सब्ज़ियाँ और होल ग्रेन डाइट लें
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ज्यादा पानी पिएं और फास्टफूड से दूरी बनाएं
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हर पैकेट वाले फूड का लेबल पढ़ें—कम से कम केमिकल्स और शुगर चुनें
बदलती जीवनशैली और प्रोसेस्ड फूड्स का बढ़ता चलन
भारत ही नहीं, पूरी दुनियाभर में प्रोसेस्ड फूड्स की खपत बीते दशक में कई गुना बढ़ गई है। सुविधा, सस्ता दाम और जल्दी तैयार होने के कारण लोग instant noodles, chips, cold drinks और ready-to-eat snacks को अपनी डेली डाइट का हिस्सा बना रहे हैं। मगर “नया अध्ययन फेफड़ों के कैंसर जोखिम में प्रोसेस्ड फूड्स” ने साबित किया है कि ये आदतें आपकी सेहत पर बहुत ही खतरनाक असर डाल सकती हैं। विशेषज्ञ मानते हैं कि लाइफस्टाइल में यह बदलाव फेफड़ों के कैंसर के साथ ही दूसरे कैंसर, मोटापा, दिल की बीमारियाँ और डायबिटीज़ बढ़ाने के लिए उत्तरदायी है।
बच्चों और युवाओं में खतरा ज्यादा
सबसे चिंताजनक बात यह है कि प्रोसेस्ड फूड्स की लत बच्चों और युवाओं में सबसे ज्यादा देखी जा रही है। बाजार में रंगीन पैकेट्स और आकर्षक विज्ञापनों के चलते बच्चे हेल्दी घरेलू खाना छोड़कर ये junk food पसंद करने लगे हैं। विशेषज्ञ चेतावनी देते हैं कि यदि अभी से जागरूकता न लाई गई, तो अगली पीढ़ी को यह खतरा और भी गंभीर रूप में झेलना पड़ सकता है।
क्या करें अभिभावक और युवा?
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स्कूल और घर में बच्चों को अपना lunch हेल्दी व homemade देने की आदत डालें।
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बच्चों को प्रोसेस्ड फूड्स के नुकसान के बारे में खुलकर समझाएँ।
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खाने को मज़ेदार बनाने के लिए रंग-बिरंगी सब्ज़ियाँ और फल शामिल करें।
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सोशल मीडिया और इन्फ्लुएंसर प्लेटफार्म्स पर हेल्दी ईटिंग चैलेंज शुरू करें।
विशेषज्ञों की राय
“फेफड़ों के कैंसर से बचाव का सबसे बड़ा उपाय है पॉष्टिक आहार और स्मोकिंग से दूरी। अल्ट्रा-प्रोसेस्ड फूड्स सिलसिलेवार तरीके से छोड़ें।”
अलर्ट! नया अध्ययन फेफड़ों के कैंसर जोखिम में प्रोसेस्ड फूड्स की गंभीर भूमिका साबित करता है। इसलिए आज से ही अपने खानपान में बदलाव लाएं, नियमित जांच करवाएं और स्वस्थ जीवन के प्रबल समर्थक बनें!